बरसात के बीच सृजन विविधा में रचनाकारों ने बरसाया साहित्य रस

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इन्दौर। श्री मध्यभारत हिंदी साहित्य समिति द्वारा प्रति शुक्रवार आयोजित होने वाले ‘सृजन विविधा’ में रचनापाठ सम्पन्न हुआ।
सभापति सत्यनारायण सत्तन ने कविता को परिभाषित करते हुए कहा कि ‘मन की पीड़ा से कविता का जन्म हुआ है, कविता जन-जन को जोड़ती है।’
वक्तव्य सत्र को शोधार्थी आदेश नामदेव ने संबोधित कर पर्यायवाची शब्दों के प्रयोग व महत्त्व पर बात की।
रचना पाठ सत्र में कुसुमलता मण्डलोई, तृप्ति शाह, किशोर यादव, दिलीप नीमा, राधिका मण्डलोई, रामआसरे पाण्डेय, डॉ. सुधा चौहान, अनिल ओझा, शीला चंदन, विनीता तिवारी, डॉ. अखिलेश शर्मा, मुस्कान राज आदि ने काव्य पाठ किया। कार्यक्रम संचालन डॉ. अर्पण जैन ‘अविचल’ ने व आभार साहित्य मंत्री डॉ. पद्मा सिंह ने माना।
इस मौके पर प्रबंध मंत्री अरविंद ओझा, अश्विन खरे, ज्योति यादव, श्याम सिंह, राजेश शर्मा, नागेश व्यास आदि मौजूद रहे।

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