टीकमगढ़: बल्देवगढ़
पंचकल्याणक महोत्सव में पहुच रहे हजारो की सख्या में धर्म प्रेमी
बल्देवगढ़ ।सिद्ध क्षेत्र आरजी में चल रहे पंचकल्याणक मान स्तंभ जिन बिम्ब प्रतिष्ठा एवं गजरथ महोत्सव के आज तीसरे दिवस मुख्य प्रतिष्ठाचार्य पंडित सुमित कुमार जी पंडित श्री विनोद कुमार जी रजबास के निर्देशन में गर्भ कल्याणक का उत्तरार्ध , नित्य पूजा ,गर्भ कल्याणक पूजन ,आचार्य श्री विनिश्चय सागर जी महाराज के मंगल प्रवचन संपन्न हुए एवम दोपहर कालीन बेला में माता मरू देवी की गोद भराई श्री मंत्र क्रिया संपन्न हुई । जिसमें शोधर्म इंद्र , कुबेर इंद्र ,यज्ञ नायक परिवार द्वारा गोद भराई की गई और अष्टकुरिर्यों द्वारा जमकर नृत्य किया और खुशियां मनाई ।उत्सव समिति के मीडिया प्रभारी संजय जैन ने बताया कि तत्पश्चात टीकमगढ़ ,बल्देवगढ़ ,भेलसी, खरगापुर, हटा आदि ग्रामों से आई महिला मंडल की महिलाओं द्वारा माता मरू देवी की गोद भराई की । तदुपरांत शांतिनाथ दिगंबर जैन छात्रावास के छात्रों द्वारा श्री मुन्ना लाल जी लार के निर्देशन में मनोवृति नाटक की शानदार प्रस्तुति दी और उपस्थित जन समुदाय की वाहवाही लूटी और तत्पश्चात आचार्य श्री बिनिश्चाय सागर जी महाराज द्वारा गर्भ संस्कार के ऊपर प्रकाश डाला जिसमें उन्होंने मनुष्य को जीवन में जीने की कला व मरने की कला आवश्यक रूप से सीख लेना चाहिए जीवन यापन तो कर लेते हैं लेकिन जीवन जीने की कला एवं मरने की कला का ध्यान नहीं रखते मनुष्य गति के मनुष्य लोग जीवन यापन और जीवन जीने का ध्यान रखते हैं लेकिन मरने का ध्यान नहीं रखते जबकि साधु लोग जीवन जीने एवं जीवन यापन पर ध्यान नहीं करते अपनी समाधि मरण पर ध्यान रखते हैं। महोत्सव समिति के अध्यक्ष अजीत जैन आईसर ने बताया कि सायं 7:00 बजे से आरती प्रवचन महाराज ना विराज का दरबार महारानी मरू देवी द्वारा स्वप्न फल की जिज्ञासा महाराज ना विराज द्वारा स्वप्न फल आदेश देवियों द्वारा समर्पण एवं प्रश्न उत्तर का वर्णन दिखाया गया।पंचकल्याणक महोत्सव में दूर-दराज क्षेत्र से हजारों की संख्या में धर्म प्रेमी बंधुओं पधार रहे हैं और मेले का जमकर आनंद उठा रहे हैं।